रिपोर्टर: प्रतीक तिवारी
लोकेशन : हमीरपुर
Hamirpur News : उत्तर प्रदेश के हमीरपुर जिले में एक गर्भवती महिला को बैलगाड़ी से एम्बुलेंस तक ले जाने का मामला सामने आया है, जिसने सामाजिक और राजनीतिक चर्चा को जन्म दिया है। यह घटना मौदहा विकास खंड के छानी गऊघाट के परसदवा डेरा क्षेत्र की है।
जानकारी के अनुसार, महिला को समय पर अस्पताल पहुँचाने के लिए स्थानीय परिजन बैलगाड़ी का सहारा लेने को मजबूर हुए। इलाके की खराब सड़कें और एम्बुलेंस की पहुंच में समस्या के कारण चालक ने महिला को सीधे डेरा तक ले जाने से मना कर दिया। परिणामस्वरूप, परिजन ने बैलगाड़ी का इस्तेमाल करके महिला को एम्बुलेंस तक पहुँचाया। इस पूरे प्रयास का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिससे प्रशासनिक और राजनीतिक ध्यान इस मामले की ओर गया।
उत्तर प्रदेश कांग्रेस ने इस घटना पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। पार्टी ने ट्वीट कर प्रदेश की भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि “डबल इंजन सरकार का इंजन फेल हो चुका है। सरकार को मजबूर होकर बैलगाड़ी के सहारे स्वास्थ्य सेवाएं चलानी पड़ रही हैं।” कांग्रेस ने यह भी कहा कि यह घटना सरकार की स्वास्थ्य सेवाओं और ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं की कमी को उजागर करती है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि परसदवा डेरा क्षेत्र की सड़कें लंबे समय से खस्ताहाल हैं। ग्रामीणों ने बताया कि अक्सर बारिश या मौसम की खराब स्थिति में सड़कें पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो जाती हैं, जिससे एम्बुलेंस जैसी जरूरी सेवाओं की पहुंच प्रभावित होती है।
इस मामले में प्रशासन ने फिलहाल कोई विस्तृत बयान जारी नहीं किया है। हालांकि सोशल मीडिया और मीडिया कवरेज के बाद स्थानीय स्वास्थ्य विभाग और प्रशासनिक अधिकारी स्थिति का अध्ययन कर रहे हैं।
राजनीतिक दलों और सोशल मीडिया पर इस घटना को लेकर व्यापक चर्चा हो रही है। कांग्रेस ने इसे डबल इंजन सरकार की नाकामी का प्रतीक बताया है, जबकि BJP की ओर से फिलहाल प्रतिक्रिया नहीं आई है।
यह घटना उत्तर प्रदेश में ग्रामीण स्वास्थ्य सेवाओं की चुनौतियों और बुनियादी ढांचे की खामियों को उजागर करती है। विशेषज्ञों का कहना है कि ग्रामीण सड़कें और स्वास्थ्य सेवाओं का सुधार सरकार की प्राथमिकता में होना चाहिए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचा जा सके।










