Hardoi News: देहात कोतवाली क्षेत्र के रामनगर कॉलोनी में स्थित श्यामजी दोना–पत्तल निर्माण इकाई में शनिवार दोपहर भीषण आग लग गई। आग इतनी तेजी से फैली कि पूरे परिसर को धुएँ और लपटों ने कुछ ही मिनटों में घेर लिया। शुरुआती प्रयास में स्थानीय लोगों ने पानी डालकर आग बुझाने की कोशिश की, लेकिन तीव्र गर्मी और बढ़ती लपटों के कारण स्थिति काबू से बाहर हो गई। तत्काल दमकल विभाग को सूचना दी गई, जिसके बाद कई फायर ब्रिगेड की गाड़ियाँ मौके पर पहुँचीं।
पाँच घंटे तक चला रेस्क्यू अभियान
दमकल कर्मियों को आग बुझाने में पाँच घंटे से अधिक समय तक जूझना पड़ा। आग की भयावहता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि परिसर में रखी सामग्री पूरी तरह जलकर खाक हो गई। राहत कार्य के दौरान ग्रामीणों ने फैक्टरी के अंदर से बड़ी संख्या में गैस सिलिंडर बाहर निकाले। इन सिलिंडरों का वहां मौजूद होना कई सवाल खड़े कर रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि यदि सिलिंडर समय रहते बाहर न निकाले जाते, तो दुर्घटना कहीं अधिक बड़ी हो सकती थी।
फैक्टरी बिना एनओसी के चल रही थी
घटना के बाद खुलासा हुआ कि यह दोना–पत्तल फैक्टरी बिना फायर ब्रिगेड की अनिवार्य एनओसी के ही चल रही थी। स्थानीय लोगों ने बताया कि यह इकाई लंबे समय से आसपास के निवासियों के लिए खतरा बनी हुई थी। बिना अनुमति चल रही फैक्टरी को लेकर लोगों में पहले से ही नाराजगी थी, लेकिन संबंधित अधिकारियों ने कोई संज्ञान नहीं लिया। इस लापरवाही ने आज बड़ी घटना का रूप ले लिया।
मालिक बोले – फैक्टरी बंद थी, ग्रामीणों ने किया दावा खारिज
फैक्टरी मालिक का दावा है कि इकाई कई महीनों से बंद थी, लेकिन स्थानीय निवासियों के अनुसार यह बिल्कुल गलत है। उन्होंने बताया कि फैक्टरी में रोजाना माल का आना–जाना देखा जाता था। रात के समय भी ट्रॉली और छोटे वाहन अंदर-बाहर आते-जाते थे, जिससे साफ है कि उत्पादन कार्य लगातार जारी था। ग्रामीणों ने कहा कि फैक्टरी मालिक झूठ बोलकर जिम्मेदारी से बचने की कोशिश कर रहा है।
पहले भी बिजली चोरी में पकड़ा जा चुका है मालिक
कुछ महीने पहले इसी मालिक की एक अन्य फैक्टरी में बड़ी बिजली चोरी पकड़ी गई थी, जिसके चलते करोड़ों रुपये का जुर्माना लगाया गया था। यह मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि अब यह बड़ा अग्निकांड सामने आ गया है। आग लगने के बाद से मालिक फरार बताया जा रहा है। पुलिस और प्रशासन उसकी तलाश कर रहे हैं ताकि इकाई से संबंधित अनुमति, दस्तावेज और सुरक्षा मानकों की जानकारी जुटाई जा सके।
दमकल विभाग ने बताया कि आग पर नियंत्रण पा लिया गया है, हालांकि अंदर का मलबा अभी पूरी तरह ठंडा नहीं हुआ है। नुकसान के आकलन के लिए एक टीम गठित कर दी गई है। वहीं ग्रामीणों ने प्रशासन से माँग की है कि बिना एनओसी और सुरक्षा नियमों के विरुद्ध चल रही ऐसी सभी फैक्ट्रियों की जाँच कर कड़ी कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएँ दोबारा न हों।
Author: Shivam Verma
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