Lucknow News: लखनऊ के बोटेनिकल गार्डन में दो दिवसीय योग शिविर का आयोजन किया गया, जिसमें शहर व आसपास के क्षेत्रों से बड़ी संख्या में योग साधकों ने भाग लिया। शिविर का संचालन जाने-माने योगाचार्य ओम नारायण अवस्थी ने किया, जिन्होंने प्रतिभागियों को योग के विभिन्न पहलुओं से परिचित कराया।
शिविर के पहले दिन योगाचार्य अवस्थी ने शारीरिक, मानसिक व आत्मिक संतुलन के लिए सूक्ष्म क्रियाओं का अभ्यास कराया। उन्होंने बताया कि इन क्रियाओं को नियमित रूप से करने से शरीर में ऊर्जा का संचार होता है और रोगों से लड़ने की शक्ति बढ़ती है।
योग का दर्शन और गहन ज्ञान साझा किया
शिविर के दूसरे दिन सांख्य योग दर्शन और पंचकोष साधना के महत्व पर प्रकाश डाला गया। योगाचार्य ने कहा कि योग केवल शारीरिक व्यायाम नहीं बल्कि एक गहन जीवन दर्शन है, जिसे अपनाकर व्यक्ति संतुलित और सकारात्मक जीवन जी सकता है। उन्होंने मंत्र योग, हठ योग, राज योग, कर्म योग, भक्ति योग, ज्ञान योग और ध्यान योग को जीवन में समाहित करने की प्रेरणा दी। योगाचार्य ने दिन की शुरुआत मंत्र योग से करने और दिन का समापन ध्यान योग से करने की सलाह दी, जिसे उन्होंने यौगिक जीवनशैली का आवश्यक अंग बताया।
कोरोना से सुरक्षा के लिए विशेष प्राणायाम
कोरोना महामारी के अनुभवों को ध्यान में रखते हुए, योगाचार्य ने ऐसे प्राणायाम और आसनों का अभ्यास कराया जो फेफड़ों की क्षमता बढ़ाने और श्वसन तंत्र को मजबूत करने में सहायक हैं। इसके अलावा, रीढ़ दोषों (गर्दन, पीठ, कमर की समस्याओं) से राहत दिलाने वाले आसनों का भी अभ्यास कराया गया। गर्मी के मौसम में शरीर को संतुलित और शीतल बनाए रखने वाले प्राणायाम जैसे शीतली, शीतकारी और चंद्रभेदी भी सिखाए गए।
गंभीर रोगों के लिए योग
शिविर में गंभीर रोगों जैसे वेरीकोज वेन्स, कैंसर की रोकथाम और पार्किनसन्स रोग में उपयोगी आसनों और प्राणायामों की विस्तृत जानकारी दी गई। बाह्य कुम्भक और आंतरिक कुम्भक के अभ्यास से शरीर को कैसे अधिक ऊर्जावान और स्वस्थ रखा जा सकता है, इस पर भी विस्तार से चर्चा की गई। योगाचार्य ने प्रतिभागियों को अर्ध कपालभाति, पूर्ण कपालभाति, गगन भेदी प्राणायाम, नाड़ी शोधन, भ्रामरी प्राणायाम और लघु अजपा जाप का अभ्यास भी कराया।
प्रतिभागियों ने लिया पूर्ण उत्साह से भाग
शिविर में गीता, मंजू, रश्मि, पूनम, रजनी (सोनी), रजनी (बच्चा बाबू), राखी, दीप्ति, ऋतु, उज्जवला, तनुजा, सुबोध, मुनीश, जितेन्द्र, अशोक, पंकज, सोनी, अमित, परिवेश, प्रकाश मोहन, ज्ञानेश्वर, रविशंकर और वीलू सहित कई प्रतिभागियों ने पूरे मनोयोग और अनुशासन से योगाभ्यास किया। कुमारी किमाया और वान्या ने छोटी उम्र में ही योग के प्रति अपना विशेष लगाव दिखाया, जिससे सभी प्रतिभागी उत्साहित हुए।
आयोजन की सफलता में सभी ने निभाई भूमिका
शिविर की सफलता में अशोक, रजनी, दीप्ति, रविशंकर, तनुजा और सुबोध का विशेष योगदान रहा। अशोक और रजनी द्वारा सभी प्रतिभागियों के लिए मठ्ठा और जल की व्यवस्था की गई, जिसके लिए साधकों ने उनका हृदय से धन्यवाद प्रकट किया। इस दो दिवसीय योग शिविर में ओम नारायण अवस्थी के अनुभव और मार्गदर्शन से प्रतिभागियों ने न केवल योग की शारीरिक तकनीकों को सीखा, बल्कि योग दर्शन की गहराई को भी समझा।

Author: Shivam Verma
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