Sultanpur News: केएनआईपीएसएस (KNIPSS) प्रबंधन संकाय के एम.बी.ए. विभाग की ओर से आयोजित फेयरवेल पार्टी ने छात्रों के दिलों में एक यादगार लम्हा जोड़ दिया। यह आयोजन विधि संकाय के ऑडिटोरियम में बड़े ही उत्साह और सौहार्द के साथ संपन्न हुआ। इस भावुक अवसर पर कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में डॉ. सुशील कुमार सिंह उपस्थित रहे।
मुख्य अतिथि डॉ. सिंह ने छात्रों को जीवन में हमेशा सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ने की प्रेरणा दी। उन्होंने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि “सफलता कभी रातों-रात नहीं मिलती, यह निरंतर प्रयासों और आत्मविश्वास का नतीजा होती है।” उन्होंने छात्रों से आग्रह किया कि वे प्रबंधन के सिद्धांतों को न केवल नौकरी में बल्कि अपने व्यक्तिगत जीवन में भी अपनाएं।
कार्यक्रम की खास झलकियाँ
फेयरवेल पार्टी में विभिन्न छात्र-छात्राओं ने रंगारंग सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ दीं। नृत्य, गीत, मिमिक्री और प्रश्नोत्तरी जैसी प्रतियोगिताओं ने माहौल को रोचक और आनंददायक बना दिया। छात्रों की रचनात्मकता और बुद्धि कौशल ने सबका मन मोह लिया।
मिस्टर व मिस फेयरवेल का हुआ चयन
फेयरवेल का विशेष आकर्षण रहा मिस्टर फेयरवेल और मिस फेयरवेल का चयन। इस वर्ष अनुराग को मिस्टर फेयरवेल और निकिता श्रीवास्तव को मिस फेयरवेल का खिताब मिला। दोनों ने न केवल पढ़ाई में बल्कि विभिन्न सह-शैक्षणिक गतिविधियों में भी उत्कृष्ट प्रदर्शन किया था।
कार्यक्रम में द्वितीय वर्ष और प्रथम वर्ष के छात्रों के बीच परस्पर सौहार्द देखने को मिला। जूनियर्स ने सीनियर्स को सम्मानपूर्वक विदाई दी, वहीं सीनियर्स ने जूनियर्स को आगे बढ़ने के लिए प्रेरणा दी। इस आयोजन को सफल बनाने में विभांशु श्रीवास्तव, संस्कृति नौगइया, स्वाती पांडे, कुमार उत्तम, भूमिका सोनी, शुभ गर्ग, रिज़वान खान आदि छात्रों का योगदान सराहनीय रहा।
शिक्षकों की गरिमामयी उपस्थिति
कार्यक्रम में प्रबंध संकाय की निदेशक डॉ. इंद्रजीत कौर, डॉ. टीनू कौर, डॉ. राहिबा भास्कर सिंह, श्री विनीश नाथ ओझा, श्री आनंद कुमार सिन्हा, डॉ. दीपक कुमार, श्री प्रदीप तिवारी, सुश्री सुप्रिया सिंह, श्रीमती रेनू यादव, श्री अरुण सिंह, श्री विकास तिवारी जैसे शिक्षकों की उपस्थिति ने छात्रों का मनोबल और बढ़ाया।
डॉ. इंद्रजीत कौर ने विद्यार्थियों को उनके उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं दीं और उन्हें जीवन में प्रबंधन के विभिन्न पहलुओं को आत्मसात करने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि “प्रबंधन केवल एक विषय नहीं, बल्कि यह जीवन जीने की एक कला है।”

Author: Shivam Verma
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